सुबह का वक्त था।
कॉलेज की लाइब्रेरी में चहल-पहल कम थी, लेकिन एक कोना हमेशा गुलजार रहता था — आरव, प्रिया, कनिका, मेघा, मीरा, और भव्या का कोना।
हर दिन ये लोग समय पर आ जाते, किताबों का ढेर लगा लेते, और अपनी-अपनी जगह जम जाते। उनके बीच की दोस्ती पढ़ाई के साथ-साथ और गहरी होती जा रही थी।
---
पहला दिन - हिंदी और इंग्लिश की तैयारी
आरव (नोटबुक खोलते हुए):
"आज हिंदी और इंग्लिश फाइनल करना है। कल बाकी सब्जेक्ट्स की बारी है।"
प्रिया (हंसते हुए):
"और आज कोई बहाना नहीं चलेगा। कोई भी टॉपिक बीच में छोड़ने का सवाल ही नहीं।"
कनिका (मस्ती भरे अंदाज़ में):
"अगर कोई छोड़ेगा तो उसे पूरे ग्रुप के लिए चाय पिलानी पड़ेगी।"
मीरा (हँसते हुए):
"वाह! ये आइडिया तो मुझे बहुत पसंद आया। आरव तैयार रहना, तेरी चाय पक्की।"
आरव (मुस्कुराते हुए किताब उठाते हुए):
"चाय क्या, पूरी टपरी ले आऊँगा, लेकिन पहले तुम लोग ये 'भक्ति काल और रीतिकाल' समझ लो।"
फिर सबने हिंदी के महत्वपूर्ण कवियों की कविताएं पढ़नी शुरू कीं — सूरदास, तुलसीदास, कबीरदास...
इंग्लिश में वर्ड्सवर्थ और शेक्सपीयर के नोट्स बनाते हुए प्रिया ने आरव की कॉपी पर छोटा सा स्माइली भी बना दिया।
आरव (देखते हुए मुस्कुराया):
"अच्छा, पढ़ाई में भी आर्ट अटैक चालू है?"
प्रिया (शरारती मुस्कान के साथ):
"थोड़ी मुस्कान जरूरी है वरना डिप्रेशन हो जाएगा!"
---
दूसरा दिन - Environmental Studies और Foundation Course
भव्या (सीरियस मूड में):
"Environment वाला टॉपिक थोड़ा भारी है। Ecosystem, Biodiversity, सब कुछ याद रखना है।"
मेघा (तेज आवाज में बोलती है):
"मैंने चार्ज लिया है आज का। सबको एक-एक टॉपिक देना है। आधा-आधा याद करके समझाओ सबको।"
मीरा (चिढ़ते हुए):
"वाह! तो तू बन गई आज की टीचर!"
सब लोग हँस पड़े और माहौल हल्का हो गया।
कुछ देर में सबने Foundation Course के Social Reforms और Indian Constitution टॉपिक कवर कर लिए।
---
तीसरा और चौथा दिन - Financial Accounting और Business Communication
अब असली जंग शुरू हुई थी —
डेबिट, क्रेडिट, ट्रायल बैलेंस, रिपोर्ट राइटिंग, ग्रुप डिस्कशन की तैयारी।
आरव (Financial Accounting के सवाल हल करते हुए):
"इस Trial Balance ने तो मेरी Trial ही ले ली है।"
कनिका (हंसते हुए):
"समझदारी से काम लो बाबा, नहीं तो Balance गड़बड़ाते देर नहीं लगेगी।"
भव्या (Business Communication पढ़ाते हुए):
"Effective Communication Skills अगर आ गई, तो ना केवल क्लास टेस्ट बल्कि इंटरव्यू में भी छा जाओगे।"
आरव (सीरियस होकर):
"भव्या, ये बहुत काम की बात कही तुमने।"
---
पाँचवाँ दिन - Business Maths और Business Regulatory Framework
मीरा (बीच में से आवाज लगाती है):
"Maths वालों, हेलमेट पहन लो, आज दिमाग फूटने वाला है!"
सब हँस पड़े, फिर Algebra, Matrices और Laws पढ़ने लगे।
Business Regulatory Framework में Indian Contract Act और Consumer Protection Act को लेकर लंबी चर्चा हुई।
---
छठा दिन - Business Environment और Business Economics
अब तक सबकी आंखों में थकान थी लेकिन हौसला बना हुआ था।
प्रिया (Business Environment पर डिबेट करते हुए):
"Globalization और Liberalization ने इंडिया को कितना बदला है, इस पर शॉर्ट नोट लिखना आना चाहिए।"
कनिका (Business Economics पढ़ते हुए):
"Price Elasticity वाले सवालों पर फोकस करो, हर बार पक्का आता है टेस्ट में।"
---
सातवाँ और आखिरी दिन - Computer Application और Revision
आज सबने कंप्यूटर लैब में बैठकर Computer Fundamentals, MS Office, और Networking के नोट्स रिवाइज किए।
उसके बाद सारे सब्जेक्ट्स का जल्दी-जल्दी Revision किया गया।
मेघा (आरव को देखती हुई):
"यार, तुम सबके साथ पढ़ाई करके मजा आ गया। अकेले पढ़ते तो कब का बोर हो जाते।"
भव्या (सहमत होते हुए):
"सच में। हमारी टीम बेस्ट है!"
प्रिया (हँसते हुए):
"अब टेस्ट के बाद एक छोटा सा सेलिब्रेशन तो बनता है, है ना?"
आरव (हँसते हुए, सबकी तरफ देखते हुए):
"पहले टॉप करो फिर जश्न मनाएंगे।"
---
रात को घर लौटते वक्त
आरव अपने स्कूटर से घर लौट रहा था।
रास्ते में हल्की हवा थी, दिल में सुकून। उसने आसमान की ओर देखा — तारे चमक रहे थे।
उसने मन में सोचा —
"अबकी बार खुद को साबित करना ही है। माँ के सपनों को पूरा करना है।"
---